तेलंगाना में अब नहीं होगी बिजली की किल्लत,नई नीति से जगमगाएगा राज्य

ज्योति योजना के माध्यम से घर में 200 यूनिट तक मुफ्त बिजली देने की योजना

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हैदराबाद। तेलंगाना में बिजली की किल्ल्त दूर करने के लि राज्य सरकार ने कई बड़े कदम उठाए हैं। इसके लिए नई नीति बनाकर राज्य में बेहतर बिजली व्यवस्था करने का निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने कहा कि विभिन्न राज्यों की मौजूदा बिजली नीतियों के विस्तृत अध्ययन और ऊर्जा विशेषज्ञों के साथ चर्चा और विधानसभा में बहस के बाद एक व्यापक नीति तैयार की जाएगी।बिजली पर समीक्षा बैठक में उन्होंने अधिकारियों को विधानसभा चुनाव के दौरान घोषित छह गारंटियों में से एक गृह ज्योति योजना के माध्यम से घर में 200 यूनिट तक मुफ्त बिजली देने की योजना तैयार करने का आदेश दिया।उन्होंने अधिकारियों को सरकारी क्षेत्र में बिजली उत्पादन क्षमता बढ़ाने की योजना तैयार करने,अधिक बिजली कंपनियां स्थापित करने की संभावनाओं का अध्ययन करने और निर्माणाधीन नए बिजली उत्पादन संयंत्रों के कार्यों में तेजी लाने के भी निर्देश दिए।
सीएम ने अधिकारियों से बिजली का दुरुपयोग रोकने और बिजली आपूर्ति की गुणवत्ता बढ़ाने को कहा। उन्होंने राज्य में बिजली की निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए मजबूत और सक्रिय कदम उठाने का भी निर्देश दिया। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार किसानों को 24 घंटे मुफ्त बिजली आपूर्ति के वादे को पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध है। सीएम ने अधिकारियों और मंत्रियों के साथ बिजली की खपत, 24 घंटे निर्बाध बिजली आपूर्ति, कंपनियों द्वारा बिजली उत्पादन, नई बिजली उत्पादन इकाइयों के उपाय, गृह ज्योति योजना के तहत 200 यूनिट मुफ्त बिजली आपूर्ति के मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को 2014 के बाद से बिजली कंपनियों और विद्युत नियामक परिषद (ईआरसी) द्वारा किए गए समझौतों, बिजली खरीद की कीमतों के बारे में व्यापक अध्ययन करने और विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। उन्होंने अधिकारियों से डिस्कॉम द्वारा किए गए वर्षवार समझौतों का विवरण और संबंधित जानकारी भी प्रस्तुत करने को कहा।
अधिकारियों ने रेवंत रेड्डी को तेलंगाना में बिजली उत्पादन की स्थापित क्षमता, विभिन्न बिजली उपयोगिताओं से बिजली खरीद, नियमित बिजली खपत, डिस्कॉम के प्रदर्शन और वित्तीय स्थिति के बारे में जानकारी दी। अधिकारियों को बिजली आपूर्ति कंपनियों को अधिक भुगतान कर अनुबंध करने के पीछे के कारणों की भी जानकारी उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया।मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को उन कंपनियों से बिजली खरीदने का निर्देश दिया जो खुले बाजार में कम कीमत पर बिजली आपूर्ति कर रही हैं। रेवंत रेड्डी ने कहा कि राज्य में अब तक रचनात्मक बिजली नीति नहीं बनने से कठिनाइयां और समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि वे दूसरे राज्यों का दौरा करें और बिजली नीतियों, बिजली की स्थिति और अपनाई गई सर्वोत्तम नीतियों का अध्ययन करें और सरकार को रिपोर्ट सौंपें।

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